पेट (आंत) में इन्फेक्शन के लक्षण और कारण

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क्या आप उलटी, दस्त, पेट में दर्द, मरोड़ उठने, जी मिचलाने आदि पेट की समस्याओं से परेशान हैं? यह सभी लक्षण पेट में यानि आपकी intestine (आंत)में इन्फेक्शन यानि संक्रमण होने की तरफ इशारा करते हैं| पेट की इन्फेक्शन होना पूरी दुनिया में एक आम stomach related problem है जो की रोजाना करोड़ों लोगों को अपनी चपेट में लेती है| यह जयादातर विकासशील देशों में अधिक देखने को मिलती है जहाँ पर साफ़ सफाई का आभाव होता है| पेट या आंत की इन्फेक्शन बैक्टीरिया, फंगस, वायरस, पैरासाइट (पेट में कीड़े), यीस्ट आदि द्वारा फैलाई जाती है| यह कीटाणु दूषित खान पान के द्वारा आपके gastrointestinal tract में प्रवेश करते हैं और आपको stomach और intestinal इन्फेक्शन से ग्रसित कर देते हैं|

stomach infection

पेट में इन्फेक्शन का लक्षण उन्हें पैदा करने वाले कारणों के आधार पर अलग अलग होते हैं| नीचे कुछ कारण और लक्षण दिए गाये हैं जो की ज्यादातर पेट के रोगियों में देखने को मिलते हैं|

बैक्टीरियल इन्फेक्शन के कारण और लक्षण

जब इन्फेक्शन बैक्टीरिया (जीवाणु) द्वारा की गयी हो तब उसे bacterial intestinal infection या  bacterial gastroenteritis कहा जाता है| इस इन्फेक्शन में बाहरी बैक्टीरिया आपकी intestine में growth करता है और inflammaton पैदा करता है| यह बैक्टीरिया आपके शरीर के भीतर दूषित खान पान, अधपका meat और साफ़ सफाई न होने के कारण प्रवेश करता है| साफ़ सफाई न रखना और खाने को सही तरह से न पकाना और खाने से पहले अपने हाथ न धोने से आपको आसानी से बैक्टीरियल इन्फेक्शन हो सकती है|

 Escherichia Coli

इसे E. coli के नाम से भी जाने हैं जो की आपकी intestine यानि आंत में पाया जाता है| वैसे तो E. coli के प्रकार हानिरहित होते हैं लेकिन कुछ आपको हानि भी पंहुचा सकते हैं खास कर जब आप दूषित जल, भोजन, कच्चा दूध, और अध् पका मीट का सेवन करते हैं|

इस बैक्टीरिया द्वारा ग्रसित व्यक्ति में पेट में तेज दर्द, खुनी दस्त, उलटी, बुखार जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं| वैसे ज्यादातर लोग 10 दिनों में ठीक हो जाते हैं लेकिन सही समय पर इलाज न मिलने से यह इन्फेक्शन जान लेवा भी हो सकती है| सही इलाज न मिलने पर गुर्दे फ़ैल भी हो सकते हैं| इसलिए लक्ष्ण पता चले ही तुरंत अपने डॉक्टर से इलाज करवाएं|

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 Shigella Infection

यह मल मूत्र से संक्रमित हाथों से भोजन करने पर या फिर दूषित जल और भोजन द्वारा आपके शरीर में प्रवेश करता है| शिगेला बैक्टीरिया जहरीले तत्व छोड़ता है जो की आंत की भीतरी झिल्ली को नुकसान पहुँचाकर आंत में अलसर और inflammation कर देते हैं| इस बैक्टीरिया द्वारा संक्रमण को medical भाषा shigellosis कहते हैं|

पेट में दर्द, मरोड़, loose motion, भूख न लगना, मलत्याग के समय दर्द होना, मल के साथ मवाद या खून का निकलना और बुखार होना इस इन्फेक्शन के लक्षण हैं| यदि समय पर इलाज न हो तो रोगी में सर दर्द, गर्दन में ऐंठन आदि लक्षण भी देखने को मिलते हैं| यह infection बहुत ही संक्रामक होती है|  इसलिए बहार खाने से परहेज करें| अपने शरीर और भोजन की साफ़ सफाई पर विशेष ध्यान दें|

Salmonella Infection

Salmonella बैक्टीरिया द्वारा हुए संक्रमण को  Salmonellosis कहते हैं| यह संक्रमण अधपके मीट, कच्चे अंडे, कच्चा दूद और दूषित फल और सब्जियों के सेवन से होता है|

दस्त, खून मल, बुखार, ठण्ड लगना, शरीर में दर्द, सिर दर्द, उलटी और पेट में दर्द इस इन्फेक्शन के लक्षण हैं|

 Clostridium Difficile Infection

Clostridium बैक्टीरिया आमतौर पर आपकी आंत में पाया जाता है| Clostridium difficile, जिसे  C. difficile, नाम से भी जाना जाता है स्वस्थ मनुष्य में कोई प्रॉब्लम नहीं करता| लेकिन जब आप कोई एंटीबायोटिक्स दवाई लेते हैं तब आपकी आंत में अच्छे बैक्टीरिया मर जाते हैं जिसके फलसवरूप इस बैक्टीरिया की संख्या बहुत अधिक बढ़ जाती है और आपको colitis नामक पत का इन्फेक्शन हो जाता है|

यदि कोलाइटिस सामान्य है तो वो हल्का पेट दर्द, कम बुखार, पेट में सूजन, हलके दस्त आदि लक्षण दिखाता है| लेकिन कोलाइटिस बिगड़ जाये तो रोगी को खुनी दस्त, उलटी, निर्जलीकरण, पेट में तेज दर्द जैसे लक्षण होने लगते हैं|

 Helicobacter pylori infection

Helicobacter pylori बैक्टीरिया जिसे हम शोर्ट form में  H. pylori के नाम से भी जानते हैं आसानी से एक मनुष्य से दुसरे मनुष्य में फ़ैल सकता है| यह थूक , मल, मूत्र और दूषित खान पान से फैलता है| इस प्रकार की इन्फेक्शन बच्चों में जयादा देखने को मिलती है|

यह आपकी आंत में अलसर यानि घाव बना देता है जिससे आपको पेट दर्द, पेट का फूलना, बार बार ढकार आना, वजन का कम होना जैसी problems हो सकती हैं|

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इनके अलावा bacillus, listeria spp, Vibrio spp आदि कुछ और बैक्टीरिया होते हैं जिनसे आपके पेट में संक्रमण होने का खतरा रहता है|

वायरस द्वारा इन्फेक्शन – कारण और लक्षण

वायरस द्वारा पेट की इन्फेक्शन होना medical भाषा में viral gastroenteritis या  stomach flu के नाम से जाना जाता है| या इन्फेक्शन मुख्य रूप से rotavirus, adenovirus, astrovirus, और Norovirus द्वारा फैलता है|

 Rotavirus

यह वायरस बच्चों में  gastroenteritis की प्रॉब्लम के लिए मुख्य रूप से जिम्मेदार होता है| बच्चे अकसर इस वायरस से संक्रमित चीज़ें अपने मुँह में दाल लेते हैं जिससे यह वायरस उनको आराम से अपना शिकार बना लेता है| बच्चो को इस वायरस से बचाने के लिए वैक्सीन भी दी जाती है|

इस वायरस द्वारा संक्रमित बच्चे में पतले दस्त, उलटी, बुखार, पेट दर्द जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं| यदि यह बड़ों को हो जाये तो कुछ खास फर्क नहीं पड़ता|

 Norovirus

यह calicivirus का एक प्रकार है और यह सर्दियों में लोगों को अपना शिकार बनाता है| इसके द्वारा संक्रमित मनुष्य को तेज उलटी और दस्त होते हैं| यह आसानी से एक से दुसरे व्यक्ति में फ़ैल सकता है|

दस्त, उलटी, बदन दर्द, कमजोरी, सरदर्द आदि इस पेट की इन्फेक्शन के कुछ लक्षण हैं|

पेट के कीड़ों द्वारा इन्फेक्शन – कारण और लक्षण

 Pinworm Infection

पिन वर्म को हम हिंदी में चुनिया, चुडूने आदि देसी नामों से जानते हैं| यह कीड़ा छोटे बच्चों में अधिक पाया जाता है और इसलिए बच्चे गुदा में खुजली होने की शिकायत करते हैं| खुजली करने से इस कीड़े के अंडे नाखुनो और उंगलियों पर आ जाते हैं जिससे यह एक बच्चे से दुसरे बच्चे में आसानी से चले जाते हैं|

इससे लड़कों में गुदा में खुजली होती है और लड़की में गुदा की खुजली के साथ साथ गुप्तांग में भी खुजली रहती है| खुजली करने से इन्फेक्शन होने का भी खतरा रहता है|

Tapeworm Infection

इस फीता कृमि भी कहते हैं| पेट में फीता कृमि होने पर कमजोरी, भूख में कमी, उलटी, नींद न आना, वजन तेजी से कम होने जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं|

 Ascariasis

इसे गोल कृमि कहते हैं या बच्चों की छोटी आंत में पाया जाता है| यह अकसर बच्चों के मिटटी खाने के कारण फैलता है|

इसके शुरुवाती लक्षण हैं तेज खाँसी, सांस लेने में परेशानी और बुखार| बाद में रोगी में  दस्त, उलटी, पेट में तेज दर्द और मरोड़, और वजन में कमी जैसे लक्षण दिखाई देते हैं| यह एक व्यक्ति से दुसरे व्यक्ति में नहीं जा पाता यानि यह असंक्रामक रोग है|

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 Giardiasis

Giardiasis इन्फेक्शन दूषित जल और भोजन करने से होती है| यह संक्रमण उदर रोग होता है| पानी जैसे दस्त आना, मल में तेज बदबू होना, पेट में गैस, हल्का बुखार, कमजोरी, थकावट और वजन कम होना इसके मुख्य लक्षण हैं|

पेट की इन्फेक्शन का ट्रीटमेंट क्या है?

जब बात बैक्टीरियल इन्फेक्शन की हो तब आपका डॉक्टर आपको oral rehydration solution देता है जो की आपको उलटी और दस्त से होने वाले निर्जलीकरण से बचाता है| यदि डिहाइड्रेशन जयादा है तो आपको intravenous fluids भी दिए जा सजता हैं| gastroenteritis, के लिए आपको  Ciprofloxacin, Rifaximin, Cefixime  जैसे एंटीबायोटिक्स भी दिए जा सकते हैं|

  1. pylori infection से ग्रसित रोगी को डॉक्टर एंटीबायोटिक थेरेपी देता है ताकि आंत में मौजूद बैक्टीरिया ख़तम हो जायें| इसके अलावा रोगी को antacid दिया जाता है ताकि acidity को कम किया जा सके| डॉक्टर अकसर H.pylori इन्फेक्शन में Metronidazole ,Tetracycline जैसे एंटीबायोटिक लिखता है| रोगी को धूम्रपान और शराब का सेवन न करने की हिदायत भी दी जाती है|

Viral Gastroenteritis में दस्त और उलटी के कारण डिहाइड्रेशन होना आम बात है इसलिए आपको आपका डॉक्टर electrolyte युक्त घोल नियमित पीने की सलाह देता है| दस्त को रोकने वाली दवाइयां भी रोगी को दी जाती हैं|

पेट में कीड़ों का संक्रमण होने की स्तिथि में डॉक्टर Metronidazole,  Nitazoxanide या  Mebendazole युक्त दवाइयां लिखता है| इसके अलावा आपको मीठे फूड्स, न खाने की सलाह दी जाती है| आपको ज्यादा से जयादा पानी पीने चाहिए और fiber युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन करना चाहिए| इससे आपकी  मल त्याग की प्रक्रिया नियमित रहेगी| कुछ फूड्स जैसे लहसुन, चुकुंद्दर, कददू के बीज आदि पेट में कीड़े दूर करने में सहायक होते हैं|

ये था एक छोटा सा लेख पेट में इन्फेक्शन के लक्षण और कारण के बारे में| ध्यान रखिये की पेट के संक्रमण को दूर रखने की लिए आपको अपनी साफ़ सफाई पर विशेष ध्यान देने की जरुरत होगी साथ ही आपका खान पान शुद्ध घरेलु होना चाहिए| आप आसानी से पचने वाला सुपाच्य भोजन करिए| यदि आपका इन्फेक्शन ठीक नहीं हो रहा तो मंत्र, झाडा और दुआ के चक्कर में न पड़ें और जितना जल्दी हो सके डॉक्टर से मिलें और सही इलाज लें|

लोगों की इतनी help की लेकिन हमारी नयी वेबसाइट like नहीं की अभी तक 😥

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32 COMMENTS

  1. Mere pet me akadapan jaisa rahata hai mal sukha aata hai pet pura saf nahin hota. Jaisae lagata hai hai pet me kuchha ataka ho upay bataye bahut dino se paresan hoo bahut zara ilaj karaya lekin koi fayada nahin hua

  2. Hello, Aap ki help chahiye ,mujhe kuch dino se pet halka sa dard mahsus hota hai ,lagta hai gas bana hai ,pet bhari bhari lagta hai ,sahi se pet saf nahi ho pata din me kai bar chala jata hu toilate ,phir bhi lagta hai phir jana padega.

  3. Hello.. Mera pet kabhi bhi saaf nahi hota..chahe doo bar bhi jau..Kabhi saaf nahi hota.. Even lose motion mei b saaf nahi hota…bina churan k motion aata nahi. Ayurvedic treatment karwaya..koi farak nahi padha…allopathy doctor kehte hain koi infection hai.. Please tell me es problem ka koi permanent solution hai kya?? Please Please reply

  4. Sir mera subha latring thik se nahi hota hai or jab tak pet saf nahi hota tab tak aanto dard hota hai saat me sher me v darad hota hai raat me khana khane ki bad latring saf hota hai tab aaram milta hai .3mahine se issobgol kharaha hun fir v thik ho nahi raha hai…face me pimples or kala kala horaha hai sir iskaa kuch ilaz boliye sir…

  5. Sir mere papa ko do din phle fever hua tha fever m platlates kam thi par aaj check kiya to phle se up hui hai par unke pet. Par swealing dikh rhi hai hath lgao pet pr to b dard hai karwat le to b pet m dard hai aur saas lete hai to dard hai vaise m doctor k yha jaa rha hu par vha jakr number bhot der baad aata hai fir b maine socha aapse discuss krlu phle

  6. Sir mujhe 1 sal se gurde me khujli hoti he aur sham ko bukhar rehta he aur mal se badbu atti he aur body me dart rhetah he par pet me halka halka akdan hoti he mal kadak arti he a kiske lakshan ho sakte he