लिंग में दर्द रहना क्यों होता है? | what causes penile pain | ling me dard hona
क्या आपको लिंग में दर्द होना की समस्या है और क्या आपके लिंग में आगे, पीछे, लिंग मुंड पर या पूरे लिंग में दर्द या भारीपन की समस्या है? इसके अलावा कुछ लोगों को लिंग में दर्द होने के साथ लिंग की नसों में दर्द और लिंग में भारीपन जैसा एहसास भी होता है| ऐसा दर्द खुजली के साथ, जलन के साथ या फिर सूजन के साथ हो सकता है| ऐसा दर्द किसी भी पुरुष को कभी भी हो सकता है और किसी भी age में|
लिंग में दर्द होने के कारण के आधार पर लिंग में दर्द होना कई प्रकार का हो सकता है जैसे की
यदि आपको लिंग में चोट लगी है या लिंग में कोई रूकावट है तो यह दर्द तेज होगा और एकदम से होगा|
यदि आपके लिंग में दर्द होने का कारण इन्फेक्शन या कोई रोग है तो ऐसा दर्द धीरे धीरे होना शुरू होगा और समय के साथ बढ़ता जायेगा|
लिंग में दर्द होने के कई कारण हो सकते हैं और जब भी ऐसा हो तब इसे हल्के में नहीं लेना चाहिए खासकर जब आपको लिंग में ढीलापन, भारीपन, दबाव , उसके तनाव में परेशानी, लिंग का ना बैठना, पेशाब करते समय दर्द या जलन होना पेशाब ना कर पाना, लिंग से खून मवाद या द्रव बहना के इलावा लिंग पर जख्म लालिमा यह सूजन जैसे लक्षण हो|
इसके इलावा यदि आपके लिंग की सेंसिटिविटी यानी संवेदनशीलता में कोई भी परिवर्तन आए या फिर लिंग को खड़ा होने में परेशानी हो रही हो या फिर आपको ऐसा लगे कि लिंग तनाव में है लेकिन वह बैठा हुआ है यानि लिंग में दबाव का एहसास हो तो आपको डॉक्टर से सलाह ले लेनी चाहिए| लिंग आपका बहुत ही जरूरी और सेंसिटिव बॉडी पार्ट है इसलिए इससे संबंधित कोई भी परेशानी होने पर डॉक्टर की सलाह अवश्य ले लें|
ling me dard ke karan | क्यों होता है लिंग और नसों का दर्द |Causes of penile pain in Hindi
लिंग में दर्द होना यानी कि आपके गुप्तांग में पेन होने के कई कारण हो सकते हैं इनमें से कुछ कारण छोटे होते हैं तो कुछ बड़े| लेकिन कारण चाहे कुछ भी हो सबसे पहले आपको डॉक्टर के पास ही जाना चाहिए यहां हम लिंग में दर्द होने के कुछ कारण बताने जा रहे हैं जिनसे आप यह अंदाजा लगा सकते हैं कि आपकी परेशानी का कारण क्या है यानी आपको लिंग संबंधित कौनसा रोग है और आपको क्या करना चाहिए या क्या नहीं से सम्बंधित जानकारी|
लिंग का टेढ़ापन होना | Peyronie’s Disease के कारण गुप्तांग में दर्द होना
Peyronie’s disease या लिंग का टेढ़ा हो जाना या मुड जाना लिंग में इन्फेक्शन या चोट लग जाने के कारण होता है| लिंग का टेढ़ापन रोग में आपके लिंग में उत्तक में वृद्धि होती है जिसे plaque कहते हैं सरल शब्दों में आप इस बात को ऐसे समझ सकते हैं कि लिंग का टेढ़ापन रोग में आपके लिंग की शाफ्ट के ऊपर अनावश्यक मांस की वृद्धि हो जाती है जिस कारण जब लिंग तनाव की स्थिति में होता है यानी खड़ा होता है तो उसमें आपको टेढ़ापन दिखाई देता है| साथ ही दूसरे लक्षण जैसे लिंग में दर्द होना भी महसूस होता है| इस बीमारी का सही कारण तो पता नहीं है लेकिन ऐसा माना जाता है कि यह रोग अनुवांशिक भी हो सकता है या फिर चोट लगने के कारण भी हो सकता है| इसके इलावा जिन लोगों को कनेक्टिव टिश्यू डिसऑर्डर होता है या फिर लसीका तंत्र से जुड़ी कोई समस्या होती है उन लोगों में लिंग के टेढ़ेपन के कारण लिंग में दर्द होना समस्या हो सकती है|
Peyronie’s disease का इलाज कैसे होता है
जब आपको लिंग का टेढ़ापन रोग हो तो डॉक्टर ही स्थिति में इंजेक्शन से आपके लिंग के कड़कपन या कठोरता को कम करने का इलाज करता है |इसके इलावा आपको सर्जरी या ऑपरेशन भी अनावश्यक उत्तक से छुटकारा पाने के लिए भी करवाना पड़ सकता है| plaque निकल जाने के बाद आपकी दर्द और टेढ़ापन की problem दूर हो जाती है|
Priapism | Ling na chahte hue khada rehna के कारण शिश्न में दर्द होना
Priapism लिंग में दर्द होने की दूसरी जड़ का नाम है इसमें ना चाहते हुए भी आपका लिंग उत्तेजित अवस्था में रहता है जिसके कारण आपको तेज दर्द होने लगता है| ऐसा छोटे बच्चों में होना आम बात है और बड़ो में बिना चाहत के लिंग खड़ा होने की समस्या 20 से 50 उम्र के बीच के पुरुषों में देखी जाती है | जब भी आप के साथ ऐसा हो तभी आपको इसका इलाज ले लेना चाहिए क्योंकि लिंग का बिना जरूरत खड़ा होना गंभीर समस्या माना जाता है और इससे आपके लिंग को परमानेंट नुकसान पहुंच सकता है और यदि समय पर इलाज ना मिले तो लिंग खड़ा होना भी बंद हो सकता है| Priapism होने के कई सारे कारण हो सकते हैं जैसे
लिंग को उत्तेजित करने वाली दवा का सेवन करना जैसे कि वियाग्रा, टाडालाफिल आदि
शारीरिक या मानसिक रोग से परेशान होना
डिप्रेशन की दवाई के कारण या किसी अन्य दवाई के साइड इफेक्ट के कारण
खून से संबंधित रोग जैसे ल्यूकेमिया या सिकल सेल एनीमिया होना
शराब या ड्रग्स का इस्तेमाल करना या किसी और तरह का नशा करना
लिंग में चोट लगने के कारण या स्पाइनल कॉर्ड से संबंधित चोट या रोग के कारण
Priapism का इलाज कैसे होता है | शिश्न या इंद्री का दर्द कैसे सही होता है
Priapism के कारण यानी जब आपका लिंग ना बैठ रहा हो आप को ऐसा लग रहा है कि लिंग बिना किसी कारण से उत्तेजित रह रहा है तब आपको इसके इलाज के लिए डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए| आमतौर पर डॉक्टर सुई के द्वारा लिंग में जमा होने वाले खून को निकालकर उत्तेजना को कम करता है ऐसा तब किया जाता है जब जब आपका लिंग किसी लिंग वर्धक दवा या टेबलेट के सेवन से खड़ा हुआ हो और बैठ न रहा हो| इसके अलावा डॉक्टर आपको लिंग खड़ा होने से रोकने की दवाई भी दे सकता है ऐसी दवाई आपके लिंग की तरफ जाने वाले खून को कम कर देती हैं जिससे आपको लिंग में दर्द से राहत मिलती है|
Balanitis और UTI | लिंग में जलन खुजली इन्फेक्शन या मूत्र मार्ग की इन्फेक्शन या रोग होने से
Balanitis और UTI होने पर भी लिंग में दर्द के साथ दूसरे लक्षण जैसे जलन, इन्फेक्शन, लिंग की नसों में सूजन या दर्द आदि हो सकता है| यूटीआई यानी मूत्र संबंधित रोग या इन्फेक्शन होने पर लिंग के आसपास या लिंग के अंदर दर्द होना भी एक आम बात है | Balanitis उन लोगों में अधिक होता है जिनके लिंग की चमड़ी नहीं खुलती या लिंग की चमड़ी पीछे होने में दिक्कत आती है या फिर हम ऐसा भी कह सकते हैं कि यह समस्या उन लोगों को अधिक होती है जिनका खतना नहीं हुआ होता यानी जिनकी लिंग की चमड़ी हटाई नहीं गई होती| ऐसे में चमड़ी के नीचे स्मेग्मा के जमने से और साफ सफाई के अभाव के कारण इंफेक्शन हो जाता है जिससे लिंग में दर्द रहने की समस्या हो जाती है| मूत्र रोग होने पर भी आपको लिंग में दर्द और नसों में सूजन की समस्या हो सकती है|
Balanitis और UTI यानी मूत्र रोग का इलाज कैसे होता है?
यदि आपके लिंग पर दर्द हो रहा है लाल या सफेद दाने बन रहे हैं तो यह लिंग का इन्फेक्शन यानी Balanitis हो सकता है| इसके अलावा आपके लिंग में दर्द लगातार बना हुआ है और आपको पेशाब करने में दर्द और जलन भी हो रही है तो इसका अर्थ होगा कि आपको मूत्रमार्ग में कोई इंफेक्शन या रोग हुआ है| इन दोनों ही स्थितियों में आपको यूरोलॉजिस्ट के पास जाना होता है| लिंग में इन्फेक्शन या मूत्र मार्ग में संक्रमण को दूर करने के लिए डॉक्टर आपको एंटीबायोटिक दे सकता है| इसके इलावा एंटी फंगल क्रीम लिंग में दर्द और नसों की सूजन को कम करने के लिए दवाइ या मेडिसिन भी दे सकता है| जरूरत पड़ने पर आप की जांच भी की जा सकती है ताकि सही कारण का पता लगाया जा सके| ऐसी स्थितियों का समय पर इलाज करवा लेना ही अच्छा है क्योंकि एक बार बीमारी बढ़ जाए तो इलाज उतना ही मुश्किल हो जाता है|
यौन रोग यानी STD भी हो सकता है लिंग की नसों में दर्द की वजह
जो लोग पराई स्त्री के साथ संबंध बनाते हैं उनमें योन रोग होने की संभावना भी अधिक हो जाती है जैसे chlamydia,, gonorrhea, genital herpes, syphilis आदि ऐसे रोग होने पर लिंग में दर्द, जलन, लिंग पर सफ़ेद द्रव भरे दाने, लिंग से बदबू आना, लिंग की नसें सूज जाना आदि जैसे लक्षण देखने को मिलते हैं| डॉक्टर इनका इलाज आपको एंटी एंटीबायोटिक, एंटीवायरल और एंटी फंगल दवा या मेडिसिन देकर करता है| ऐसे रोगों से बचने के लिए आपको सेक्स करते हुए विशेष सावधानी बरतनी चाहिए क्योंकि कुछ स्थितियों में ऐसे लोग जानलेवा भी हो सकते हैं|
लिंग पर चोट लगना भी हो सकती है दर्द की वजह | penile pain due to injury
शरीर के किसी भी अंग पर चोट लग सकती है और ऐसा आपके लिंग के साथ भी हो सकता है| आमतौर पर लिंग की चोट सहवास करते समय, एक्सीडेंट में, लिंग के जलने से, लिंग वर्धक यंत्र का इस्तेमाल करने से, अधिक शक्ति के साथ हस्तमैथुन करने आदि से लग सकती है| जिससे लिंग में पेन या स्वेलिंग की समस्या आ सकती है चोट का इलाज डॉक्टर दर्द निवारक दवा लिंग को सुन करने वाली क्रीम या कारण के आधार पर इलाज देकर करता है| यदि आपके लिंग पर चोट लग गई है तब आपको निश्चित रूप से डॉक्टर से मिलना चाहिए क्योंकि छोटी सी दिखने वाली चोट भी लिंग को बहुत अधिक नुकसान पहुंचा सकती है|
फिमोसिस पैराफिमोसिस के कारण लिंग में दर्द और नसों में सूजन
लिंग की नसों में दर्द , लिंग की shaft पर दर्द दर्द फिमोसिस या पैराफिमोसिस रोग के कारण हो सकता है जो कि लिंग की चमड़ी से संबंधित रोग होते हैं|
फिमोसिस की समस्या उन पुरुषों के साथ आती है जिनके लिंग की चमड़ी बहुत टाइट होती है| ऐसी चमड़ी खुलती नहीं है यानी ऐसी चमड़ी को टोपी से पीछे नहीं किया जा सकता| लिंग की चमड़ी ना खुलने से टोपी और चमड़ी के बीच में इंफेक्शन होने का खतरा हमेशा बना रहता है जिससे लिंग को नुकसान पहुंच सकता है और लिंग में दर्द और नसों में सूजन भी हो सकती है | ऐसा छोटी उम्र में होना आम बात है लेकिन बड़ी उम्र के लोगों में इसका इलाज करवा लेना ही बेहतर होता है| इलाज ना होने पर इंफेक्शन का खतरा बना रहता है लिंग से संबंधित रोग होने का भी|
पैराफिमोसिस में लिंग की चमड़ी टाइट होती है और यदि इस चमड़ी को टोपी से पीछे खींच लिया जाए या किसी कारण से चमड़ी टोपे से पीछे हट जाए तो इसे आगे करना मुश्किल होता है| ऐसी स्थिति में चमड़ी के दबाव के कारण लिंग में खून का दौरा रुक जाता है और इस दबाव के कारण लिंग के tissue को भी नुकसान पहुंच सकता है और लिंग के tissue यानि उत्तक की मृत्यु भी हो सकती है यह एक emergency होती है जिसका तुरंत इलाज जरुरी होता है|
फिमोसिस या पैराफिमोसिस का इलाज डॉक्टर थेरेपी देखकर, स्टेरॉयड युक्त क्रीम देकर, लिंग की चमड़ी को कोमल बनाने की कोशिश करता है जिससे कि लिंग की टाइट चमड़ी ढीली हो जाए और आपको लिंग के दर्द और नसों की सूजन से छुटकारा मिले| इसके अलावा डॉक्टर चमड़ी को सही स्थिति में लाने के लिए इंजेक्शन या छोटी सर्जरी भी कर सकता है| इसके इलावा लिंग की टाइट चमड़ी को सही करने के लिए डॉक्टर किस यंत्र का भी प्रयोग कर सकता है|
लिंग का कैंसर भी होता पुरुष गुप्तांग है दर्द का कारण
लिंग में कैंसर होने के क्या लक्षण हो सकते हैं इस बारे में अधिक जानकारी हमने दूसरे लेख में दे दी है| लिंग में कैंसर युक्त गांठ होना से लिंग में दर्द, लिंग के ऊपर सूजन, लिंग के रंग में परिवर्तन, लिंग की नसें अधिक सूजी हुई प्रतीत होती है| लिंग में कैंसर होने के कई कारण हो सकते हैं जैसे
शराब, गुटका, खैनी, तंबाकू या दूसरे प्रकार के नशे करना
human papillomavirus infection इन्फेक्शन होना जोकि यौन रोग के कारण वायरस के चपेट में आने से होती है
लिंग का खतना ना होने पर लिंग की चमड़ी में कैंसर हो सकता है
लिंग की साफ सफाई ना रखने पर या यौन रोग से ग्रसित होने पर
सोरायसिस का इलाज होने के बाद
डॉक्टर लिंग के कैंसर का इलाज लिंग में पाई जाने वाली गांठ को हटाकर करता है और आपको दूसरी थेरेपी जैसे कीमोथैरेपी या रेडिएशन ट्रीटमेंट भी दे सकता है | इसके अलावा आपको कैंसर दूर करने के लिए जरूरी दवाइयां मेडिसिन खाने की सलाह भी दे सकता है|
लिंग में दर्द सूजन सूजन इन्फेक्शन आदि से बचाव के लिए आपको सहवास करते समय हमेशा कंडोम का इस्तेमाल करना चाहिए| इसके इलावा लिंग की साफ सफाई का भी ख्याल रखना चाहिए| लिंग के साथ जोर-आजमाइश नहीं करनी चाहिए खासकर जब लिंग खड़ा हो तब उसे मोड़कर नहीं देखना चाहिए, पराई स्त्री के साथ संबंध बनाने में परहेज करना चाहिए| कुल मिलाकर आप को बचाव के वे सभी तरीके अपनाने हैं जिनसे आप अपने लिंग को सुरक्षित रख सके|
तो भाइयों लिंग में दर्द होना लिंग की नसों में सूजन या लिंग में दबाव या भारीपन लगना जैसे लक्षण होने पर आपको तुरंत किसी अच्छे यूरोलॉजिस्ट या सेक्सोलॉजिस्ट से मिलना चाहिए| आप की यह समस्या आगे ना बढ़ पाए इसलिए समय पर इलाज करवा लेना ही समझदारी होता है| याद रखिए जब आपको इस प्रकार का कोई लिंग से संबंधित रोग हो तो ऐसे समय में हस्तमैथुन और संबंध बनाने से परहेज करें| इसके इलावा सफाई का विशेष ख्याल रखें ताकि आपको इन्फेक्शन के कारण कोई समस्या ना हो| लिंग आपका एक महत्वपूर्ण अंग है और कोमल भी इसलिए आपको उसका खास ख्याल रखना चाहिए|