Kyon mood kharab rehta hai | बात बात पर या छोटी से बात पर मूड ख़राब होना या चिढना क्यों होता है| चिडचिडापन होना क्यों होता है?
चिडचिडापन जब होता है तब आप गुस्से में आ जाते हैं, व्याकुल हो जाते हैं आपका मन अशांत हो जाता है और जब ऐसा होता है तो आपका दिमाग एकदम upset हो जाता है और आपका मूड ख़राब हो जाता है| ऐसा होना केवल दिमाग से सम्बंधित नहीं होता बल्कि ऐसा होना स्वस्थ सबंधी समस्याएँ होने का भी लक्षण हो सकता है जिसमें व्यक्ति जरुरत से अधिक चिढ़ा हुआ रहता है और छोटी छोटी बात अपने दिल पर लगाकर जरुरत से जयादा irritate या upset रहता है|
ऐसा बड़ों के साथ ही नही बल्कि बच्चों के साथ भी हो सकता है खासकर जब बच्चा किसी परेशानी में होता है या फिर बीमार होता है जैसे कान में इन्फेक्शन होने से या पेट में दर्द होने से या किसी अन्य कारण से|
यदि आप बड़े हैं और बात बात पर या हर समय आपमें चिडचिडाहट रहती हैं जिससे आपको हमेशा गुस्सा आता रहता है या आप हर समय बिना बात के चिढ़े हुए रहते हैं तो आपको सबसे पहले किसी अच्छे psychiatrist से मिलना चाहिए ताकि आपकी इस परेशानी के सही कारण का पता चल सके|
चिडचिडापन, क्रोध, ख़राब मूड हर समय रहना के क्या कारण है| क्यों रहते हैं आप चिढ़े हुए?
चिडचिडाहट या बिना बात के upset रहना या गुस्सा ना या किसी की हलकी से बात पर विचलित हो उठना चाहे बात सही हो| यदि आपके साथ भी ऐसा होता है तो इसके पीछे मानसिक और शारीरिक कारण हो सकते हैं जैसे
गुस्सा आने, चिडचिडापन रहने या upset मूड के मानसिक कारण होते हैं
मानिसक तनाव में रहना
किसी बात से चिंता यानि एंग्जायटी में रहना
अवसाद यानि depression की problem होना
बाइपोलर disorder से ग्रसित होना
Schizophrenia या autism की बीमारी होना
इसके अलावा हर समय irritate और मूड ख़राब रहना के शारीरिक कारण होते हैं
नींद की कमी होना या कम सोना
भूखे रहना या blood शुगर low होना
कान में इन्फेक्शन या दांत दर्द या शरीर में किसी जगह दर्द होना
Diabetes की समस्या होना
सर्दी जुखाम के कारण irritate रहना
साइनस या एलर्जी के कारण भी व्यक्ति irritate रहता है|
इसके अलावा शरीर में हार्मोनल बदलाव से भी आपको मूड बदलना या ख़राब होना, अचानक से मूड बिगड़ जाना या गुस्सा अधिक आना जैसी problems हो सकती हैं ऐसा अक्सर menopause, premenstrual syndrome (PMS), polycystic ovary syndrome (POS), hyperthyroidism, diabetes आदि की शिकायत होने पर हो सकता है|
इसके अलावा medicine के कारण या नशे करने या छोड़ने पर भी आपको ऐसा हो सकता है खास कर उनके साथ जो किसी प्रकार की दवा का सेवन करते हैं जिससे उन्हें ऐसा साइड इफ़ेक्ट हो, शराब का सेवन करना, जर्दा तंबाकू खाना, स्मोकिंग, चाय कॉफ़ी का अधिक सेवन करना|
इसके अलवा और बहुत से reasons हैं जिनसे आपको बार बार, हर समय या बिना बात के गुस्से में या चिढ़े हुए रहते हैं| सही कारण पता करने के लिए आप डॉक्टर से काउंसलिंग करिए|
चिडचिडापन रहना के साथ जुड़े लक्षण | Irritable mood symptoms
कभी कभी चिडचिडाहट की समस्या अधिक होने पर आपको दुसरे लक्षण भी देखने को मिल सकते हैं जैसे
पसीना अधिक आना
दिल की धड़कन तेज हो जाना
सांस तेज होना
सोच समझ की शक्ति कम होना
गुस्सा क्रोध के साथ व्याकुल हो जाना
यदि हार्मोनल कारण के कारण आपको समस्या है तब आपको बुखार, सिर दर्द, चेहरा लाल हो जाना, पीरियड सम्बन्धी problems रहना, बाल झड़ना आदि|
डॉक्टर कैसे करते हैं चिडचिडेपन, मूड ख़राब रहना, अधिक गुस्सा आना, irritate रहना या upset रहना की पहचान और इलाज
यदि आप हमेशा या बात बात पर जरुरत से अधिक चिड जाते हैं या upset हो जाते हैं तो आपको मनोरोग विशेषज्ञ की मदद लेनी चाहिए ताकि आपकी समस्या के बारे में ये पता लगाया जा सके की आपको परेशानी मानसिक है या शारीरिक| डॉक्टर आपको बार बार upset या मूड खराब होने की समस्या को कम करने की तकनीक भी बताएगा| इसके अलावा कारण की पहचान के लिए डॉक्टर आपकी मेडिकल हिस्ट्री के बारे में पूछेगा की आपको कोई रोग तो नहीं है पहेले से या फिर आप कोई दवा का सेवन करते हैं या नहीं|
डॉक्टर आपके जीवन से जुडी बातें पूछ सकता है जैसे आपकी नींद के बारे में, आप कैसा जीवन जीते हो या फिर कोई नशा करते हो की नहीं आदि| इसके अलावा डॉक्टर आपके मानसिक तनाव में रहने का कारण जानने की कोशिश कर सकता है|
आपके लक्षणों और आपकी स्तिथि के अनुसार आपको टेस्ट करवाने की सलाह भी दी जा सकती है जैसे पेशाब या खून का टेस्ट इसके अलावा hormones or शुगर के लेवल की जांच भी की जा सकती है
कारण के आधार पर आपको मूड ख़राब रहना या होना, चिडचिडापन, अधिक गुस्सा आना या बात बात पर upset होने के लिए इलाज दिया जाता है जिसके लिए डॉक्टर आपको दवा और थेरेपी लेने की सलाह दे सकता है ताकि आपकी शारीरिक और मानसिक स्तिथि में सुधार हो|
शराब, तम्बाकू, सिगरेट आदि छोड़ने का इलाज भी आपका चलता है यदि आपको इन चीज़ों की लत हो या आप दूसरा कोई नशा करते हैं|
hormones लेवल में गड़बड़ी होने के कारण आपको समस्या है तो आपको डॉक्टर hormone replacement therapy लेने की सलाह भी दे सकता है|
इसके अलावा डॉक्टर आपको अपनी जीवनशैली में परिवर्तन करने की भी सलाह दे सकता है जैसे योगा और ध्यान करना, आपकी डाइट में सुधार, नियमित एक्सरसाइज रूटीन, नींद लेने की आदतों में सुधार, मानसिक तनाव को कम करने के लिए जरुरी निर्देश भी आपको दे सकता है|
तो दोस्तों यदि आपको भी ऐसी problem है तो ये मानसिक और शारीरिक कारणों से हो सकती है इसलिए आपको डॉक्टर की सहायता जरुर लेनी चाहिए| आपके मन में कोई प्रशन है तो हमसे पूछिए हम आपका पूरा मार्गदर्शन करते रहेंगे|